कोरोना के 64 मरीजों के बीच फंसा है मेरठ का पीयूष

फर्स्ट बाइट इंडिया, 10 फरवरी


 कोरोना वायरस को लेकर दुनिया भर में मचे हाहाकार के बीच कई भारतीय जहां-तहां फंसे हैं । जापान पहुंचे एक क्रूज़ में मेरठ का पीयूष समेत कई लोग फंसे है। बताया जा रहा है कि इसमें 64 यात्रियों में कोरोना वायरस की पुष्टि होने से जापान में खलबली मच गई है। क्रूज़ के यात्रियों की 14 दिनों तक निगरानी की जाएगी ।


मेरठ के शास्त्रीनगर निवासी पियूष वशिष्ठ पुत्र मूलचंद गुरुग्राम के सेक्टर 33 स्थित एक कंपनी में सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं। पीयूष के घर वालों ने बताया कि पीयूष 6 सहकर्मियों के साथ 25 जनवरी को भारत से हांगकांग गए थे। डायमंड प्रिंसेस नामक को उसी दिन जापान के लिए निकला जिसमें 3700 लोग सवार थे। क्रूज़ जापान के योकोहामा बंदरगाह पहुंचा तब कई यात्रियों में कोरोना के लक्षण उभरे। इसके बाद जापान की सरकार हरकत में आ गई 273 संदिग्ध लोगों की जांच में पता चला कि 61 यात्रियों में कोरोना वायरस पहुंच चुका है। बाद में 3 और लोग में भी कोरोना वायरस पहुचने की पुष्टि हुई यानी अब तक टोटल 64 लोगो मे कोरोना वायरस पहुचने की पुष्टि हो चुकी है ।


पीयूष के परिजनों का कहना है कि सभी मरीजों को आइसोलेट कर अस्पताल में दाखिल कराया गया इसके साथ ही क्रूज़ को जहां का जहां रोक दिया गया और क्रूज में बचे बाकी लोगों पर डॉक्टर की टीम 14 दिनों तक निगरानी रखेगी यानी 19 फरवरी तक।उनका को कहना है कि जापान के बंदरगाह पर खड़े डायमंड क्रूस में फंसे भारतीय दल ने शाकाहारी भोजन के लिए दूतावास से गुहार लगाई है। राजदूत को ईमेल किया गया है। पीयूष ने घर वालों को बताया कि क्रूज़ में ज्यादातर मांसाहारी हैं रसोई में शाकाहारी भोजन की कमी है। उन्होंने शाकाहारी खाने के लिए मांग की है वही पीयूष के घर वाले पीयूष से लगातार वीडियो कॉल पर संपर्क में है और पीयूष की वापसी के लिए बेचैन है उसके घरवालों का कहना है कि अभी तक वह सुरक्षित है